happy to enjoy this journey of pregnancy
गर्भावस्था स्त्री के जीवन का सबसे
महत्वपूर्ण समय होता है जब वह महिला माँ बनती है गर्भावस्था ऊरकों से तीव्र
निर्माण की वह अवस्था होती है जहां लिए गये भोजन , जीवनसत्व ,खनिज लवण और हारमोंस
की क्रिया द्वारा नौ महीने के समय में पूरी तरह से परिपक्व शिशु तैयार होता है । गर्भावस्था हर स्त्री के अलग - अलग अनुभव का सफर है इस सफर में अनेक हारमोनल व् बहुत सी
परेशानियों का सामना वह महिला करती है
जब आप इन छोटी - छोटी बातो का ध्यान
रखेंगी तो आपके माँ बनने का सफर बहुत आराम से व बिना परेशानियों से गुजरेगा । कोई चिंता हो तो अपनी डॉक्टर को जरुर बताये खूब खुश रहे आराम करे और
इस मातृत्व के सफर का आनन्द ले
जी मचलना और उल्टी
होना - गर्भावस्था में मतली होने या उल्टी मोर्निग सिकनेस कहा जाता है पहले
तीन महीने से चार महीने तक माता को होती है एस्ट्रोजन के स्तर बढने के कारण , मानव
कोरियोनिक , गोदोत्रोफिन , गैस की समस्या , खानपान सम्बन्धी आदतों के कारण होती है
उपचार -
भोजन के समय देने के बजाय भोजन के बीच बीच में देना चाहिए
भोजन के समय देने के बजाय भोजन के बीच बीच में देना चाहिए
सुअभ सोकर उठे बिस्तर से उठने के बाद कुछ
ठोस कार्बोज जैसे टोस्ट ,बिस्कुट , क्रैकर्स हल्की चाय के साथ लेना चाहिए
रात को सोने से पहले ही कुछ खाना चाहिए
वह पदार्थ ना खाए जिसके स्वास या गंध से
उल्टी होती है
जूस भी डॉक्टर से पूछकर उल्टी रोकने की
दवाइयां भी देना चाहिए ।
गर्भावस्था में नींद न आना - गर्भावस्था में हाम्र्मोंस में बदलाव और शरीर की असुविधा नींद में
अडचन लाती है नींद आपके बढ़े हुए पेट के कारण , थकान , पैर के दर्द के कारण होती है
देर रात में वाशरूम जाने के कारण भी नींद प्राभावित हो जाती है
गर्भावस्था से सम्बन्धित नींद ना की
समस्या को हल्के से नहीं लेना चाहिए पीएओएस वन में प्रकाशित एक २०१४ के अद्ययन में
बताया की गर्भावस्था की अनिद्रा अवसाद बन सकती है
उपचार -
समय पर सोने का नियम बनाये
खुश रहे किसी तरह का तनाव ना ले
अच्छी किताबे पढ़े जो आपको माता बनने व्
शिशु के देखभाल करने में मदद करे
विटामिन से भरपूर खाना खाए
गर्म दूध में ड्राय फ्रूट्स डालकर पिए अच्छी
नींद आयेगी
अच्छी नींद आये इसलिए मद्दम संगीत सुने
मैडिटेशन करे
गर्भावस्था में थकान होना - पहले और तीन महीने में थकान होती है क्योकि गर्भस्थ शिशु आपके शरीर
को सहार देने की तैयार प्रारम्भ करता है आप उससे एडजस्ट नही होती है और आपको थकान
होती है इसलिए आप ज्यादार लेटना और बैठकर काम करना चाहती है
प्रेगनेंसी में आपके शरीर में बहुत
परिवर्तन होते है प्रोजेस्ट्रोन का बढ़ता स्टार की वजह से महिलाओं को थकान होती है
उपचार -
स्त्री को भरपूर आराम करना चाहिए
अगर थकान हो रही है तो पहले आराम करे बाद
में बाकी काम
जिस काम से , भोजन को खाने से खुशी मिले वह खाए
जिन भोजन में आयरन और प्रोटीन उसे खाए
गर्भावस्था में बार - बार
मूत्र के लिए जाना - गर्भावस्था में
महिलाओं को बार बार पेशाब लगती है वे रोक नहीं पाती है यह समस्या गर्भावस्था आख़री
तीन में होती है यह समस्या बच्चे के सर के दबाव के कारण होती है पेशाब जब जायेंगी
तो मूत्राशय पूरी तरह खाली होने में तकलीफ महसूस करेंगी
उपचार -
खूब सारा पानी पिए जिससे मूत्र पतला हो
पेल्विक फ्लोर व्यायाम करके मूत्र के असयम
को रोके
सोते समय ज्यादा पेय पदार्थ ना ले
गर्भावस्था में कब्ज - गर्भावस्था में प्रोजेस्ट्रोन का अज्यादा स्त्रवन होने पर आतों की
मांसपेशियां ढीली पद जाती है जिससे मॉल उत्सर्जन देर से होता है इसके कारण कब्ज हो
जाता है
ओब्स्तेत्रिक्स और गायन्कोलोजी में
प्रकाशित एक २००७ के अद्ययन में बताय है की गर्भावस्था के दौरान महिला को एक -
चौथाई तक और गर्भावस्था के तीन महीनों के बाद कब्ज प्रभावित करती है
यदि कब्ज का इलाज ना किया जाता तो बवासीर
हो सकती है जो गुदा के आसपास वाली नसों में सूजन के कारण होती है
उपचार -
गर्भवती को हल्का व्यायाम करना चाहिए
दिन में खूब पानी पिएँ
पूरी नींद लेना चाहिए
फल सम्पूर्ण अनाज और रेश वाली सब्जियां
लेना चाहिए ।
गर्भावस्था में पैरो में दर्द -
गर्भावस्था के दुसरे व् तीसरे महीने में टांगो में दर्द पिंडली में
ऐंठन गर्भावस्था में होती है | दर्दनाक ऐंठन स्त्री के शरीर के वजन
बढने या रक्त वाहिकाओ के कम्पन के कारण होती है कम कैल्शियम या मैग्नीशियम लेने के
कारण होती है
उपचार -
रात में सोने से पहले अपनी टांगो की
मांसपेशियों की स्त्रेंचिंग करे
पैरो के व्यायाम करे
गर्म तेल से पैरो पर मालिश करे
गर्भावस्था में सूजन - गर्भावस्था में अधिकतर तकना ,पैर , हाथ
में अक्सर सूजन आ जाती है शरीर में
ब्लड और तरल पदार्थ ज्यादा बनते है जो बच्चे को सपोर्ट दें के लिए तैयारी
करता है जिससे सूजन होती है
उपचार -
वाक् पर जाए
हल्के फुल्के व्ययाम करे
जूते आराम देने वाले पहने
सोते समय पैरो को ऊँचा रखने के लिए तकिया रखे
भोजन में ज्यादा सोडियम न ले
केले में पोटेशियम होता है केला खाएं
छाती में जलन - गर्भावस्था में गर्भावस्था की शुरुआत सीने में जलन पेट के एसिड के
वापस ग्रासनली में जाने से होती हारमोंस में परिवर्तन और बढ़ते गर्भ से पेट पर दबाव
की वजह से छाती से जलन होती है इसे 'हार्ट बर्न' कहा जाता है
उपचार -
माता को अधिक तेलयुक्त भोजन नहीं देना
चाहिए जैतून का तेल देना चाहिए ।
जो भी खाए अच्छी तरह चबाकर खाए
ज्यादा तले पदार्थ कॉफ़ी ना ले
अदरक वाली चाय जलन कम कर सकती है
गर्भावस्था में कमर दर्द - कमर के नीचे दर्द यह परेशानी ज्यादातर गर्भावस्था दुसरे व् तीसरे
महीने में होती है
कम वेट होने , उठने बैठने परिवर्तन ,
मांसपेशियों के आराम की वजह से निचले हिस्से में दर्द हो सकता है
उपचार -
बैठते ,चलते समय या खड़े होने के समय कमर
को सीधा रखे
फिसलन से बचाव हेतु आराम- आराम से काम करे
फ़्लैट चप्पल या जूते पहने
कभी भी स्वय भारी सामान ना उठाये किसी की
मदद ले
ना ज्यादा बैठे ना ज्यादा खड़े रहे
जब भी सोये कमर को सपोर्ट देने के लिए पैर
के बीच एक तकिया रखे
मजबूत गद्दे पर ही सोये
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